***** छत्तीसगढ़ शासन के आदेश के खिलाफ हो रहे जनसुनवाई को लेकर पर्यावरण प्रेमी हाई कोर्ट जाने की तैयारी में ***
रायपुर 21/06/2024// /// छत्तीसगढ़ शासन के सख्त आदेश के बावजूद जिला रायपुर और इंडस्ट्रियल ग्रोथ सेंटर सिलतरा , धरसीवा के आसपास लोहे और कोयले से संबंधित उद्योगों की जनसुनवाई व दस्तूर जारी है, जबकि एनजीटी की गाइडलाइन का पालन करते हुए , छत्तीसगढ़ पर्यावरण मंडल की अनुशंसा पर छत्तीसगढ़ राज्य ने एक सख्त आदेश निकाला है जिसके तहत रायपुर जिले और उसके 10 किलोमीटर की परिधि में कोई भी लोहा और कोयले से संबंधित उद्योगों को ना तो एक्सपेंशन की और ना ही नए उद्योग लगाने की परमिशन दी जा सकती है |
अब इस आदेश के तहत लोहा और कोयला से संचालित होने वाले करखाने का मतलब धुआ उगलने वाले किसी भी उद्योग को ना तो एक्सपेंशन की और ना ही नए लगाने की परमिशन नहीं दी जा सकती मामला बड़ा टेढ़ा था तो उद्योगपतियों और पर्यावरण मंत्रालय के लोगों ने मिलकर एक बीच का रास्ता निकल लिया है कि वह जनसुनवाई में कुछ ऐसे टेक्निकल प्वाइंट डालते हैं जो इस आदेश की सीमा से बाहर हो जाते हैं उसके पीछे सिर्फ कारण यही है की एक बार जनसुनवाई हो गई एक्सपेंशन की परमिशन मिल गई उसके बाद जिस तरीके की जनसुनवाई में उन्हें अनुमति मिली थी उसको दरकिनार करके वह उन्हीं मशीनों के द्वारा कोयला और कोयले से लोहे को पिघलाकर धुएं की चिमनियों से धुआं उगलते हुए दिखाई देते हैं ,पर्यावरण मंत्रालय को भी पता है अधिकारियों को भी पता है उद्योगपतियों को भी पता लेकिन अब इस आदेश के कारण तो एक्सपेंशन नहीं कर पा रहे हैं, तो उन्होंने कुछ तकनीकी तौर पर ऐसे बिंदु निकाल लिए हैं जिनकी आड़ में है वह जनसुनवाई की घोषणा करना चाहते हैं इसी तरीके से हाल ही में 9 जुलाई को दो ऐसे उद्योगों की जनसुनवाई होना है जो पहले से ही प्रदूषण फैला रहे हैं वो तकनीकी तौर पर हेरफेर करके एक्सपेंशन के लिए पीछे के दरवाजे से घुसपैठ कर जनसुनवाई करना चाह रहे हैं
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